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कलेक्टर पहुंचे खड़गवां के हाथी प्रभावित ग्राम जरौंधा, एसपी एवं डीएफओ भी रहे मौजूद… ग्रामीणों से क्षति की ली जानकारी, हाथियों का समूह पहुंचा कटघोरा डिवीजन…

कलेक्टर पहुंचे खड़गवां के हाथी प्रभावित ग्राम जरौंधा, एसपी एवं डीएफओ भी रहे मौजूद…

ग्रामीणों से क्षति की ली जानकारी, हाथियों का समूह पहुंचा कटघोरा डिवीजन…

कमलेश शर्मा-कोरिया

कलेक्टर कोरिया एसएन राठौर बुधवार को कोरिया वनमंडल के डीएफओ एमोतेमसू आओ एवं एसपी चंद्रमोहन सिंह के साथ जिले के विकासखण्ड खड़गवां के हाथी प्रभावित क्षेत्र पहुँचे। खड़गवां के ग्राम पंचायत जरौंधा अंतर्गत प्रभवित क्षेत्र में पहुंचकर कलेक्टर श्री राठौर ने ग्रामीणों से मकानों, फसलों और मवेशियों को हुई क्षति पर चर्चा की एवं जानकारी ली। हाथियों के दल से सुरक्षा एवं बचाव हेतु तैनात जवानों से कलेक्टर श्री राठौर ने गांव में सुरक्षा हेतु किये जा रहे उपायों की जानकारी ली।

जवानों ने बताया कि हाथियों का दल कटघोरा डिवीजन में पहुंच चुका है। कलेक्टर श्री राठौर ने कहा कि मशाल जलाने व अन्य उपायों को जारी रखें। जिला प्रशासन, पुलिस एवं वन विभाग हर मदद के लिए तैयार है। उन्होंने ग्रामीणों से अकेले ना घूमने एवं जंगल ना जाने की तथा समूह में रहने व काम करने की समझाइश दी। ग्रामीणों को सामूहिक रूप से एक जगह ठहराने की व्यवस्था हेतु कलेक्टर श्री राठौर ने संबंधित सरपंच को निर्देशित किया एवं ग्रामीणों के समूह में ठहरने की व्यवस्था हेतु डीएफओ व एसपी के साथ स्वयं ग्राम जरौंधा के अंतर्गत शासकीय उच्चतर माध्यमिक स्कूल भवन व छात्रावास का अवलोकन किया।

उल्लेखनीय है कि 13 दिनों से इस इलाके में 45 हाथियों का दल विचरण कर रहा था। जो अब कटघोरा डिवीजन निकल चुका है। विदित हो कि गत एक पखवाड़े से वनमंडल कोरिया के  वन परिक्षेत्र खड़गवां के सर्किल-सकड़ा व बीट-देवाडांड में लगभग  45 हाथियों का समुह विचरण कर रहा है। जिनके द्वारा अभी तक 9 स्थानों पर फसलहानि, 6 मकान को क्षति व 3 पशु हानि की चुकी है। सबसे ज्यादा प्रभावित ग्राम – मंगोरा, बिरनीडांड, बेलकामार, भुसकीडांड, कटकोना, कारिछापर, भुजबल डांड, जरौंधा हैं। वर्तमान स्थिति में हाथी बीट देवाडांड के सीमा क्षेत्र से लगे कटघोरा वनमंडल के समलाई जंगल बभनी नदी के ऊपर मे विश्राम कर रहे है। वन अमले द्वारा आस पास के ग्रामो में सूचना दे दी गई है साथ ही हाथियों से दूरी बनाकर रहने और जंगल न जाने की समझाइश दी जा रही है।

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